Sunday, April 29, 2012

ये कैसी नौकरी है जहाँ हर दिन की शुरुआत ही झूठ और फरेब से होती है....

कॉल सेण्टर में काम करने वाली एक नई युवा पीढ़ी की खेप की बाढ़ इन दिनों पूरे देश में आई हुई है ....पश्चिम के सुर में सुर मिलाते हुए और अंग्रेजियत का लबादा ओढ़े हुए कुछ ज्यादा ही अंग्रेज, ये नस्ल अपनी पहचान को खोने में कितनी आतुर नज़र आती  है, देख कर हैरानी होती है....किसी भी कॉल सेण्टर का माहौल बड़ा ही अजीब सा होता है ...जहाँ अंग्रेजियत की बनावटी हवा में देशी पसीने की गंध सब कुछ गडमड करती हुई लगती है....सीधी सी एक कहावत याद आती है ...न घर के न घाट के...ये कैसी नौकरी है जहाँ हर दिन की शुरुआत ही झूठ और फरेब से होती है....

Hello Sir...my name is Mark or Michell or Suzi or John,  calling from New york or Boston or Washington  ...you see sir we are a company giving you best rate for .....blah ..blah..blah...

बेशक नेपथ्य में देशी ठहाके चल रहे हों...कॉल सेण्टर की अपनी ही एक संस्कृति बनती जा रही है...नवजवानों का रात भर काम करना..और जो वो नहीं है...खुद को मान लेना, छद्म  जीवन जीना..
हैरानी की बात यह है कि कोई इस बात पर ध्यान नहीं दे रहा है, कि ये वेदेशी कंपनियां...अपने बिजनेस के लिए हमारी युवा पीढ़ी को एक ऐसा जीवन दे रही है जिसका कोई भविष्य नहीं है....
इस नौकरी में अच्छे पैसे मिलते हैं...इसलिए बच्चे १०-१२ वीं की पढ़ाई करके पैसा कमाने चले जाते हैं....२०,०००-३०,००० हज़ार रुपैये हर महीने कमाते देख माँ-बाप भी खुश और बच्चे भी खुश...आसान काम,
आसान पैसा...
लेकिन सोचने वाली बात ये है कि इस पीढ़ी का भविष्य क्या होगा ...जब इनकी उम्र ४०-५०-६० वर्ष की होगी तो ये क्या करेंगे ? कॉल सेण्टर इनको रखेगा नहीं....qualification इनके पास होगी नहीं ...और दूसरा काम ना जानते हैं, न ये कर पायेंगे...और तब एक दूसरी ही खेप तैयार हो जायेगी...
 
है न सोचने वाली बात ? तो सोचिये....ये विदेशी कंपनियां और कॉल सेंटर्स तो जम कर पैसा कमा रहीं है ...लेकिन साथ ही लगा रहीं हैं वाट हमारी भावी पीढ़ी को....इतनी तादाद में बच्चे इस आसान से फरेबी,  ग्लैमर और न जाने क्या-क्या से अटे से काम में लगे हुए हैं....कल देश में जब सही लोगों की और सही शिल्प की ज़रुरत होगी तो लोग कहाँ से आयेंगे ???... और उससे भी बड़ी बात ये कॉल सेण्टर आज हैं कल ये विदेशी कंपनी इसे उठा कर अपने देश में भी तो ले जा सकते हैं ..फिर का होगा बबुआ...!!!

हाँ नहीं तो..!!